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खरोरा : ओबीसी महासभा गुरूर विकासखंड के तमाम पदाधिकारियों की उपस्थिति में एसडीएम को ज्ञापन सौंपा

ओबीसी महासभा गुरूर विकासखंड द्वारा राष्ट्रपति , प्रधानमंत्री , गृहमंत्री भारत सरकार , सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्री भारत सरकार , राष्ट्...


ओबीसी महासभा गुरूर विकासखंड द्वारा राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री, गृहमंत्री भारत सरकार, सामाजिक न्याय एवं अधिकारिता मंत्री भारत सरकार, राष्ट्रीय अध्यक्ष राष्ट्रीय पिछड़ा वर्ग आयोग दिल्ली, आयुक्त महा रजिस्टार एवं जनगणना भारत सरकार के नाम गुरूर अनुविभागीय अधिकारी गंगाधर वाहिले एसडीएम को ओबीसी महासभा गुरूर विकासखंड के तमाम पदाधिकारियों की उपस्थिति में ज्ञापन सौंपा गया ।       

 ज्ञापन में मांग की गई है कि लंबित राष्ट्रीय जनगणना 2021 की जनगणना फार्मेट में ओबीसी के लिए पृथक कोड नंबर निर्धारित कर जनगणना शीघ्र की जाए तथा आंकड़े प्रसारित किए जाने का अनुरोध किया गया है। ओबीसी आरक्षण में लागू क्रिमीलेयर की असंवैधानिक शर्तों को समाप्त किए जाने की मांग की है और कहा गया है कि कोमीलेयर की अवधारणा परिवार एवं समाज के लिए विघटनकारी बन गया है । मंडल कमीशन की समस्त अनुशंसाओं को पूर्णतया लागू किए जाने का अनुरोध क किया गया है। 27 प्रतिशत आरक्षण को देश के सभी राज्यों में समाज रूप से लागू किए जाए तथा भारत सरकार द्वारा ओबीसी आरक्षण को अध्यादेश पारित कर संविधान की नवमी अनुसूची में शामिल किया जाए। देश में निजीकरण पूर्ण रूप से बंद किया जाए एवं निजीकरण हो की उपस्थिति में ज्ञापन सौंपा गया। चुके संस्थाओं में आरक्षण रोस्टर का पालन करते हुए भर्ती किए जाने का अनुरोध किया गया है।

घरेलू रसोई गैस की कीमत म आसमान छू रही है, इसकी कीमत आधी की जाए ताकि मध्यमवर्गीय परिवार की बिगड़ती बजट ठीक हो सके। संविधान के अनुच्छेद 243 के तहत पंचायत एवं नगरी निकाय मे ओबीसी के लिए आरक्षण का प्रावधान है, चूंकि प्राथमिक संस्थाओं मे आरक्षण लागू किया जाने का अनुरोध है, देश मे ओबीसी विघटनकारी बन गया है। मण्डल के लिए लागू आरक्षण के बराबर
: को बजट प्रावधानित किए जाने की बात  कही गई है, अनुसुचित जाति एवं ण अनुसूचित जन जाति की भाँति ओबीसी को भी एक्ट्रो एक्ट के दायरे  में रखा जाए, ताकि ओबीसी के को साथ सामाजिक न्याय हो सके।

 2 दिसंबर 2022 को छत्तीसगढ़ सरकार द्वारा पारित आरक्षण से विधेयक में राज्यपाल से वंचित होना पड़ा है, अतः राज्यपाल एक्त आरक्षण विधेयक में या तो शीघ्र हस्ताक्षर करे या छत्तीसगढ़ सरकार को बिल वापस करे या राष्ट्रपति को मत मार्गदर्शन के लिए अग्रेसित करे। इसके लिए उचित सुझाव राज्यपाल  को देने का कष्ट करें, ताकि ओबीसी हो की बहुप्रतिक्षित 27 प्रतिशत के आरक्षण मिल सके। इस अवसर पर ओबीसी महासभा गुरुर विकासखंड के अध्यक्ष ओमप्रकाश  साहू, झमन लाल हिरवाणी, लोचन राम साहू, संपत राम कलिहारी  सहित सभी पदाधिकारी उपस्थित  होकर ज्ञापन सौंपा गया।


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